गिरिडीह के मुख्य गुरुद्वारा में श्री गुरु सिंह सभा द्वारा 22 से 28 दिसंबर तक सफर-ए-शहादत कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसमें हर शाम श्री गुरु गोविंद सिंह जी के चार साहबजादों और माता गुजर कौर जी की शहादत को याद कर श्रद्धा सुमन अर्पित किए गए। इस दौरान सिख समाज के बच्चों ने कथा, कविता और कीर्तन के जरिए वीर साहबजादों की गाथा प्रस्तुत की, जबकि भक्तजनों और स्थानीय कीर्तन मंडलियों ने भजन-कीर्तन से श्रद्धांजलि दी।
कार्यक्रम के अंतिम दिन शनिवार को विशेष समापन हुआ, जहां बच्चों ने अपनी प्रस्तुति से वीर साहबजादों की वीरता और बलिदान को याद किया। बच्चों की हौसलाअफजाई के लिए श्री गुरु सिंह सभा ने उन्हें उपहार भेंट किए। समापन के मौके पर रागी जत्था द्वारा भी कीर्तन और कथा प्रस्तुत की गई।
साथ ही, श्रद्धालुओं के लिए लंगर का आयोजन किया गया। सभा के सचिव नरेंद्र सिंह शमी ने बताया कि यह आयोजन सात दिनों तक चला, जिसमें भजन-कीर्तन और कथा के माध्यम से गुरु परिवार की शहादत को स्मरण किया गया। इस आयोजन को सफल बनाने में अध्यक्ष डॉ. गुणवंत सिंह मोंगिया, सरदार नरेंद्र सिंह शमी, सरदार मनजीत सिंह सलूजा, सरदार अमरजीत सिंह सलूजा, चरणजीत सिंह सलूजा, सरदार देवेंद्र सिंह, सरदार कुंवर जीत सिंह, बीबी जसविंदर कौर, इशा बाधवा और अन्य गणमान्य व्यक्तियों का विशेष योगदान रहा।



